इस 4 रुपए के जुगाड़ से खेतों में खत्म होगी खरपतवार की समस्या, आइये आपको बताते हैं की मात्र 4 रुपए में ही कैसे खत्म होगी इतनी बड़ी समस्या।
खरपतवार से हो चुके हैं परेशान
खेतों में खरपतवार एक ऐसी समस्या है जो की खेतों में बहुत ही ज्यादा नुकसान पहुंचाती है साथ ही इससे उत्पादन भी काफी कम निकलता है। खरपतवार के कारण पौधों के जरूरी पोषक तत्व छीनने लगते हैं जिससे कि पौधों को उचित रूप से पोषक तत्व न मिल पाने के कारण पौधे पूरी तरह खराब होने लगते हैं और कई बार इनका उत्पादन भी काफी तेजी से घटने लगता है। ऐसे में किसानों के सामने यह एक बहुत बड़ी समस्या बन जाती है इसको हटाने के लिए किसान कई तरह की चीजों का उपयोग करते हैं लेकिन उनको एक उचित समाधान नहीं मिल पाता। आज हम आपको एक ऐसा ₹4 का जुगाड़ बताने जा रहे हैं जिससे आपके खेतों में खरपतवार की समस्या बिल्कुल भी खत्म हो जाएगी।
खेतों में करिये ये 4 रुपए का जुगाड़
खेतों में खरपतवार की समस्या को खत्म करने के लिए आप कार्डबोर्ड का उपयोग कर सकते हैं यह एक ऐसी ट्रिक है जो आपको गार्डनिंग में और खेती में काफी ज्यादा मददगार साबित होती है। कार्डबोर्ड आपकी मिट्टी की उर्वरक क्षमता बढ़ाकर इसमें हमेशा ही नमी बनाए रखता है जिससे कि खरपतवारों को सूरज की रोशनी नहीं पड़ पाती जिससे खरपतवार नहीं बढ़ते और 95% तक खेतों में खरपतवार से सुरक्षा भी हो जाती है। कार्डबोर्ड आपको बाजार में 10 से 20 रुपए में मिल जाते हैं लेकिन यदि आप इनको ज्यादा मात्रा में खरीदने हैं तो यह आपको मात्र तीन से चार रुपए में मिल जाएंगे। इससे आप खेतों में मल्चिंग भी करके भी लगा सकते हैं यह एक नेचुरल फिल्टर के तौर पर काम करता है यह एक ऐसी लेयर तैयार करता है जो पानी को अंदर तेजी से सोख्ता है जिससे कि केंचुए इसकी तरफ आकर्षित होते हैं और मिट्टी को हवादार बनाते हैं।
जानिए क्या है लाभ
- मल्चिंग प्रक्रिया के जरिए आप कार्डबोर्ड का उपयोग करके अपने मिट्टी को और अधिक उपजाऊ बना सकते हैं कार्डबोर्ड खरपतवार को दूर करने के लिए सबसे अच्छा तरीका माना जाता है।
- मल्चिंग विधि से मिट्टी के उर्वरक क्षमता में सुधार होता है मल्चिंग मिट्टी में कार्बनिक पदार्थ को जोड़ता है जिससे की मिट्टी की उर्वरक क्षमता बहुत ही अच्छी होने लगती है।
- मल्चिंग विधि से पौधों की वृद्धि में भी सुधार होता है इससे उत्पादन काफी अच्छा निकलता है मल्चिंग एक ऐसी प्रभावी विधि है जो खरपतवार नियंत्रण में सबसे ज्यादा सहायक होती है साथ ही पौधों को कीटो और बीमारियों से बचाने में भी मदद करती है।
- मल्चिंग विधि मिट्टी की कटाव को काम करके मिट्टी के तापमान को कम करती है और गर्मियों में इसे ठंडा रखने में मदद करती है
- मल्चिंग विधि से केंचुए बहुत ही तेजी से आकर्षित होते हैं जिससे कि पौधों में बहुत ही ज्यादा पोषक तत्व मिलते हैं और पौधे स्वस्थ रहते हैं।
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